कृषि कानूनों के विरोध को लेकर केन्द्र सरकार ने पंजाब के किसानों को भेजा बुलावा

केन्द्र सरकार ने पंजाब के किसान निकायों को 13 नवंबर को बातचीत के लिए आमंत्रित किया है।

मोदी सरकार द्वारा पारित किए गए कृषि बिलों के विरोध को लेकर केन्द्र सरकार ने पंजाब के किसान निकायों को 13 नवंबर को बातचीत के लिए आमंत्रित किया है। मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार केंद्रीय कृषि और किसान कल्याण मंत्रालय के सचिव, कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर और रेल मंत्री पीयूष गोयल के साथ मीटिंग करने के लिए पंजाब के किसान संगठनों को बुलावा भेजा गया है।

‘रेल रोको आंदोलन’ के चलते पंजाब जाने वाली रेलगाड़ियों को किया स्थगित

उल्लेखनीय है कि कृषि बिलों के विरोध को लेकर पंजाब के किसानों ने रेल रोको आंदोलन शुरु किया था जिसके बाद पंजाब जाने वाली बहुत सी ट्रेन रद्द कर दी गई थीं। हालांकि किसानों ने मालगाड़ियां शुरु करने के लिए पटरियां खाली कर दी हैं परन्तु केन्द्र सरकार यह सुनिश्चित करना चाहती है कि मालगाड़ियों के साथ ही यात्री ट्रेन भी पूर्ण सुरक्षा के साथ चल सके तथा उनमें यात्रा करने वाले नागरियों को किसी भी प्रकार का कोई नुकसान न पहुंचे। इसी मुद्दे पर किसान नेताओं को मीटिंग के लिए बुलाया गया है।

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किसान नेताओं ने बुलाई 12 नवंबर को मीटिंग

भारतीय किसान यूनियन (राजेवाल) के अध्यक्ष बलबीर सिंह राजेवाल ने भी निमंत्रण मिलने की पुष्टि की है। एक किसान नेता ने बताया कि उन्होंने आगे की स्ट्रेटेजी बनाने के लिए 12 नवंबर को यूनियन लीडर्स की मीटिंग बुलाई है। मीटिंग के बाद ही कोई निर्णय लिया जाएगा।

किसान नेताओं ने जताई थी किसानों के शोषण की आशंका

कृषि बिलों को लेकर देश भर के किसान नेताओं ने आशंका जताई थी कि इन नए कानूनों के पारित होने से न्यूनतम समर्थन मूल्य प्रणाली (MSP) खत्म हो जाएगी और किसान मजदूर बन कर रह जाएंगे। बड़ी कॉर्पोरेट कंपनियां उनसे मनमाने दामों पर फसल खरीदेगी और किसानों का शोषण होगा। इसीलिए वे इन कानूनों का विरोध करते हुए इन्हें निरस्त करने की मांग कर रहे हैं।

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