ग्लिरिसिडिया मिट्टी में हरी पत्ती की खाद डालकर पोषक तत्वों को भरपूर बनाता है

ये नाइट्रोजन स्थिरीकरण के जरिए मिट्टी में 70-274 किग्रा/हेक्टेयर नाइट्रोजन प्रतिवर्ष जोड़ता है

इसे किसी भी तरह की मिट्टी और जलवायु में उगाया जा सकता है, बारानी क्षेत्रों में फायदेमंद है

इससे मक्का, बाजरा, चना, और अरहर की पैदावार में वृद्धि देखी गई है

ग्लिरिसिडिया की हरी खाद पर्यावरण-अनुकूल विकल्प है, जो खेतों में नमी और पोषण बनाए रखती है

ग्लिरिसिडिया के पौधे बीजों या डंठल के जरिए उगाए जा सकते हैं

ये खाद, चारा, ईंधन के लिए उपयोगी है, खेत-तालाब की मेड़ पर लगाने से फसलचक्र व टिकाऊ खेती मिलती है