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आधुनिक उपकरणों ने किसानों के लिए खेती का काम काफी हद तक आसान बना दिया है, वरना बुवाई से लेकर जुताई और कटाई तक काम बहुत श्रम साध्य होता था पहले, मगर अब इस काम के लिए कई मशीने आ चुकी हैं। किसानों का काम आसान करने वाली एक ऐसी ही मशीन है रीपर बाइंडर (Reaper Binder Machine) जिसे BCS इंडिया प्राइवेट लिमिटेड कंपनी बनाती है।
ये कंपनी कई कृषि उपकरणों का निर्माण करती है। रीपर बाइंडर मशीन (Reaper Binder Machine) फसल कटाई में अहम भूमिका निभा रही है, इसकी मदद से किसान गेहूं, चना, सरसों, मसूर आदि फसलों की आसानी से कटाई कर सकते हैं।
फोरव्हील रीपर बाइंडर मशीन (Four Wheel Reaper Binder Machine) गेहूं की कटाई के साथ-साथ उसके बंडल भी बांधती है, जिससे किसानों को अलग से बंडल नहीं बांधना पड़ता है यानी उनका काम आसान हो जाता है। यह उपकरण कैसे काम करता है और इसकी क्या खासियत है इस बारे में किसान ऑफ इंडिया के संवाददाता सर्वेश बुंदेली ने बात की कंपनी के एक प्रतिनिधि से।
10 मज़दूरों के बराबर करती है काम ( Does Same Work As 10 Laborers)
BCS इंडिया प्राइवेट लिमिटेड कंपनी कई कृषि उपकरण बनाती है। जिसमें एक प्रमुख उत्पाद है रीपर बाइंडर (Reaper Binder Machine)। कंपनी से जुड़े एक प्रतिनिधि ने मशीन के बारे में जानकारी देते हुए बताया कि रीपर बाइंडर गेहूं, जौं, धान जैसी फसलों को काटकर इसके बंडल बनाती है।
साथ ही इस मशीन का एक फायदा ये भी है कि किसानों को भूसा और धान का पुआल पूरा मिल जाता है। आज के समय में जहां किसानों के पास भूसे की किल्लत है ऐसे में ये मशीन उनके लिए बहुत उपयोगी है। रीपर बाइंडर के ज़रिए किसान कम बजट में आसानी से काम कर सकते हैं।
पहले जहां किसानों को एक एकड़ की फसल कटाई के लिए 10 मज़दूर की ज़रूरत पड़ती थी और वो पूरे दिन लगकर ये काम करते थे, वहीं रीपर बाइंडर 1 घंटे में कर एक एकड़ फसल की कटाई करने के साथ ही बंडल भी बना देती है।
आसान है चलाना (It Is Easy To Operate)
रीपर बाइंडर (Reaper Binder Machine) सिर्फ एक से डेढ़ इंच छोड़कर ज़मीन से लगकर चलती है। क्योंकि इसमें फोरव्हील ड्राइव आती है, इसलिए किसान इसे आसानी से चला सकते हैं। इसमें एक छतरी और 3 लाइट लगी होती है। ये मशीन एक घंटे में एक एकड़ फसल की कटाई करती है, इस हिसाब से अगर किसान 24 घंटे में से अगर 15 घंटे भी मशीन चलाते हैं, तो 20000 से 30000 रुपए प्रतिदिन आसनी से कमाई कर सकते हैं।
ये मशीन फसल काटने के बाद बंडल बनाती है और एक बंडल 20-22 किलो का होता है, जिसे सीधे थ्रेसर में डाल दिया जाता है, खोलने की ज़रूरत नहीं पड़ती है और न ही उठाने की ज़रूरत पड़ती है।
एक एकड़ के लिए एक लीटर डीजल की खपत (Consumption Of One Liter Of Diesel For One Acre)
रीपर बाइंडर (Reaper Binder Machine) में डीजल इंजन है और एक घंटे में एक एकड़ फसल की कटाई में एक लीटर डीजल की खपत होती है। जो किसानों के लिए किफायती है।
कितनी मिलती है सब्सिडी (How Much Subsidy Get)
आमतौर पर कृषि उपकरणों की खरीद पर सरकार की ओर से सब्सिडी दी जाती है। रीपर बाइंडर पर भी सब्सिडी मिलती है जो हर राज्य के हिसाब से अलग-अलग हो सकती है। BCS इंडिया प्राइवेट लिमिटेड कंपनी के प्रतिनिधि ने उत्तर प्रदेश के बारे में जानकारी देते हुए बताया कि यहां के किसान https://upagripardarshi.gov.in/ वेबसाइट पर जाकर सब्सिडी के लिए आवेदन कर सकते हैं।
आवेदन के बाद इसमें टोकन जनरेट होता है, इसके बाद सबसे पहले 5 हजार रुपए की राशि यूनियन बैंक से डिपॉजिट करवानी होगी, इसके बाद किसान सब्सिडी लेने का हकदार हो जाता है।
टोकन कटने के एक महीने के अंदर मशीन खरीदनी होती है और एक महीने के अंदर सब्सिडी की राशि आ जाती है। इसमें 2.5 लाख तक सब्सिडी मिलती है, मशीन के लिए किसानों को सिर्फ 25 हजार रुपए का भुगतान ऑनलाइन माध्यम से करना होता है।
रीपर मशीन (Reaper Machine)
रीपर बाइंडर के अलावा BCS इंडिया प्राइवेट लिमिटेड रीपर मशीन भी बनाती है। ये मशीन गेहूं, धान, जौ, जई जैसी फसलों को को काटकर लाइन में लगा देती है। कंपनी के प्रतिनिधि बताते हैं कि बाज़ार में दूसरी कई रीपर मशीन है, मगर वो पटई सिस्टम वाली है और उनके पास चेन सिस्टम वाली मशीन है।
ये रीपर धान को काटकर आराम से लाइन में लगा देते है, क्योंकि चेन स्लिप नहीं होती है इसलिए कटाई अच्छे तरीके से हो जाती है। रीपर की कीमत 1.5 लाख है जिसमें 75 हजार रुपए सब्सिडी मिल जाती है। इसम मशीन में पेट्रोल इंजन लगा है, मगर किसान चाहे तो इसे डीजल में बदलवा सकता है। इसमें वाइब्रेशन कम होता है, साथ ही ये मशीन एक घंटे में एक बीघा फसल कटाई के लिए एक लीटर पेट्रोल की खपत करती है।
रीपर और रीपर बाइंडर में अंतर (Difference Between Reaper And Reaper Binder)
रीपर मशीन धान-गेहूं को काटकर लाइन में लगाती है, जबकि रीपर बाइंडर मशीन धान, गेहूं, जौ, जई को काटकर बंडल भी बना देती है जिसे सीधे थ्रेसर में डाल दिया जाता है।
पावर वीडर की ख़ासियत (Features Of Power Weeder)
BCS इंडिया प्राइवेट लिमिटेड रीपर और रीपर बाइंडर के अलावा इटालियन पावर वीडर और इंडियन पावर वीडर भी बनाती है। इटैलियन पावर वीडर में किसान जुताई से कटाई तक का पूरा सिस्टम लगा सकते हैं। जुताई में जैसे रोटा वेटर आएगा, वो कम से कम डेढ़ फीट और अधिकतम 5 फीट तक का लगा सकते हैं। इसी तरह रीपर भी लगा सकते हैं जो गेहूं, धान, जौ जैसी फसल को काटकर लाइन में लगा देगा।
उसके अलावा लॉन मोवर (lawn mover) भी लगा सकते हैं जो पार्क की घास काटने के लिए होती है, दवा का छिड़काव करने के लिए स्प्रे पंप भी लगाया जा सकता है। इसके साथ ही कल्टीवेटर भी लगा सकते हैं, जो जुताई का काम आसान कर देता है।
इसके साथ ही ट्रॉली लगा सकते हैं जो 3 से 5 क्विंटल तक वज़न ले जा सकती है, मिट्टी चढ़ाने वाली मशीन भी इसमें अटैच की जा सकती है जिससे बेड बनाने में मदद मिलेगी और गन्ने पर मिट्टी चढ़ाने का काम भी आसान हो जाता है। पावर वीडर पहाड़ी क्षेत्र के किसानों के लिए ये फायदेमंद हैं जहां ट्रैक्टर चलाना मुश्किल होता है।
रीपर बाइंडर के फ़ायदे (Advantages Of Reaper Binder)
1.यह गेहूं, चना, सरसों, मसूर, धान जैसी कई फ़सलों की कटाई कर सकती है।
2.यह मशीन, एक घंटे में एक एकड़ फ़सल की कटाई कर सकती है।
3.फसल को काटने के साथ-साथ बांध भी देती है।
4.हार्वेस्टर की तुलना में फसल की नीचे से कटाई करती है।
5.इससे पराली जलाने की समस्या का भी समाधान हो जाता है।
6.किसानों के समय, श्रम और पैसों की बचत करती है।
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