किसान आंदोलन आज 23वें दिन भी जारी, शाम को होगी प्रेस कॉन्फ्रेंस

किसान संगठनों ने कहा है कि हम तो चाहते हैं, सुप्रीम कोर्ट तीनों कानूनों पर तब तक के लिए रोक लगा दे जब तक सरकार और किसान के बीच वार्ता के माध्यम से मसले का समाधान नहीं हो जाए।

किसान आंदोलन farmers protest

कृषि विधेयकों को लेकर किसानों का आंदोलन आज 23वें दिन भी जारी है। किसान आंदोलन के विरुद्ध सर्वोच्च न्यायालय में भी अपील की गई है इसलिए किसान नेता किसी भी रणनीति को बनाने से पहले अदालत की संभावित कार्यवाही पर भी विचार कर रहे हैं।

हालांकि कोर्ट ने मामले में किसानों को सड़कों से धरना-प्रदर्शन हटाने को लेकर कोई आदेश अब तक नहीं दिया है, लेकिन किसान नेताओं ने कहा है कि कोर्ट की तरफ से किसी भी प्रकार का नोटिस पर वकीलों की राय ली जाएगी।

पंजाब में ऑल इंडिया किसान सभा के जनरल सेक्रेटरी मेजर सिंह पुनावाल ने कहा कि किसानों का यह प्रदर्शन शांतिपूर्ण ढंग से चल रहा है और यह तक तक चलता रहेगा जब तक सरकार तीनों कानूनों को वापस नहीं लेगी।

उल्लेखीय है कि देश की राजधानी दिल्ली की सीमाओं पर किसान 26 नवंबर से डेरा डाले हुए हैं। वे केंद्र सरकार द्वारा कोरोना काल में लागू तीन नये कृषि कानूनों को वापस लेने की मांग कर रहे हैं। इन कानूनों के विरोध में किसान संगठनों के नेताओं का कहना है कि सरकार तीनों कानूनों को वापस नहीं लेगी तब तक उनका आंदोलन चलता रहेगा।

किसान संगठनों ने कहा है कि हम तो चाहते हैं कि सुप्रीम कोर्ट तीनों कानूनों पर तब तक के लिए रोक लगा दे जब तक सरकार और किसान के बीच वार्ता के माध्यम से मसले का समाधान नहीं हो जाए। हालांकि शीर्ष अदालत ने यह स्पष्ट किया कि यह कानून पर रोक लगाने की राय नहीं है बल्कि केंद्र सरकार और किसान यूनियन के बीच वार्ता की संभावनाओं को तलाशने की कवायद है।

इस पर अटॉर्नी जनरल ने कहा कि किसान नेता जिद पर अड़े हैं और वे तब तक कोई बात नहीं करना चाहते हैं जब तक सरकार तीनों कानूनों को वापस नहीं ले लेती है।

पंजाब में भारतीय किसान यूनियन (लाखोवाल) के जनरल सेक्रेटरी हरिंदर सिंह लाखोवाल ने कहा कि पंजाब से हर घर से कम से कम एक आदमी रोज आ रहे हैं और देश के अन्य प्रांतों के लोग भी उनके आंदोलन में शामिल हो रहे हैं, इसलिए कुछ दिनों पहले दिल्ली की सीमाओं पर जहां हजारों की तादाद में लोग प्रदर्शन में शामिल थे वहां अब लाखों की तादाद हो गई है।

पंजाब के एक अन्य संगठन भारतीय किसान यूनियन ने कहा कि नये कृषि कानून के विरोध में चल रहे आंदोलन के दौरान करीब दो दर्जन किसानों की मौत हो गई है। उन्होंने कहा, किसान आंदोलन के दौरान शहीद हुए किसानों को 20 दिसंबर को हम श्रद्धांजलि देंगे। देशभर में श्रद्धांजलि सभा का आयोजन किया जाएगा।

किसान नेताओं ने बताया कि आज शाम को किसान संगठनों के नेताओं के बीच सिंधु बॉर्डर पर आंदोलन के लिए आगे की रुपरेखा तय की जाएगी और बाद में प्रेस कॉन्फ्रेंस भी आयोजित होगी।

Kisan of India Instagram
सम्पर्क सूत्र: किसान साथी यदि खेती-किसानी से जुड़ी जानकारी या अनुभव हमारे साथ साझा करना चाहें तो हमें फ़ोन नम्बर 9599273766 पर कॉल करके या [email protected] पर ईमेल लिखकर या फिर अपनी बात को रिकॉर्ड करके हमें भेज सकते हैं। किसान ऑफ़ इंडिया के ज़रिये हम आपकी बात लोगों तक पहुँचाएँगे, क्योंकि हम मानते हैं कि किसान उन्नत तो देश ख़ुशहाल।
मंडी भाव की जानकारी
ये भी पढ़ें:

Leave a Comment

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Scroll to Top