MSP for Kharif crops: भारत सरकार ने किसानों को बड़ी खुशखबरी देते हुए ख़रीफ़ फसलों में धान, रागी, मक्के और मूंगफली सहित 14 फसलों की MSP यानी की न्यूनतम समर्थन मूल्य (Minimum Support Price) में बढ़ोतरी की है, इससे किसानों को बडे़ स्तर पर लाभ मिलेगा।
सामान्य धान और धान ग्रेड-ए में पिछले साल के मुकाबले 143 रूपए की बढ़ोतरी हुई है। वहीं मोटे अनाजों में रिकॉर्ड बढ़ोतरी देखने को मिली है। जहां रागी की पिछले साल एमएसपी 3578 रूपए थी उसमें 7.5 प्रतिशत की बढ़ोतरी के साथ MSP 3846 रूपए कर दी गई है।
किन फसलों की कितनी बढ़ी एमएसपी
फसल का नाम | 2022-23 की एमएसपी | 2023-24 की एमएसपी |
धान- सामान्य | 2040 | 2183 |
धान-ग्रेड ए | 2060 | 2203 |
ज्वार- संकर | 2970 | 3180 |
ज्वार- मालदंडी | 2990 | 3225 |
बाजरा | 2350 | 2500 |
रागी | 3578 | 3846 |
मक्का | 1962 | 2090 |
अरहर | 6600 | 7000 |
मूंग | 7755 | 8558 |
उर्द | 6600 | 6950 |
मूंगफली | 5850 | 6377 |
सूरजमुखी बीज | 6400 | 6760 |
सोयाबीन पीली | 4300 | 4600 |
तिल | 7830 | 8635 |
नाइजरसीड | 7287 | 7734 |
कपास (मध्यम स्टेपल) | 6080 | 6620 |
कपास (लॉग स्टेपल) | 6380 | 7020 |
इस साल ख़रीफ़ फसलों में एमएसपी की सर्वाधिक बढ़ोतरी मूंग की फसल में हुई है। पिछले साल के मुकाबले सर्वाधिक 10.4 प्रतिशत की बढ़ोतरी के साथ 8558 रूपए कर दिया गया है।
क्या है MSP?
MSP यानी कृषि उपज का ऐसा न्यूनतम समर्थन मूल्य जिसे सुनिश्चित करने की गारंटी सरकारों की ओर से किसानों को दी जाती है। इसके पीछे का तर्क ये है कि बाज़ार में फ़सलों की क़ीमतों में होने वाले उतार-चढ़ाव का किसानों पर नुकसानदायक असर नहीं पड़े और उन्हें न्यूनतम मूल्य की गारंटी मिले। क्योंकि दरअसल होता ये है कि जब किसानों की उपज के बाज़ार में पहुँचने का मौसम होता है तब बाज़ार पर हावी माँग और पूर्ति की शक्तियों की वजह से किसानों से उनकी उपज ऐसे औने-पौने दाम में नहीं खरीदी जा सके, जिससे किसानों को घाटा हो।