आज 5 June को पूरी दुनिया विश्व पर्यावरण दिवस (World Environment Day 2025) मना रहा है। भारत इस दिन को एक ख़ास मुहिम के साथ सेलिब्रेट कर रहा है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Prime Minister Narendra Modi) ने दिल्ली के महावीर जयंती पार्क में एक पौधा रोपकर ‘एक पेड़ मां के नाम’ 2.0 अभियान (ek ped maan ke naam 2.0 abhiyaan) की शुरुआत की। ये अभियान हर भारतीय को अपनी मां के नाम पर एक पेड़ लगाने के लिए प्रेरित करता है।
क्यों खास है ये दिन?
हर साल 5 जून को मनाए जाने वाले इस दिन का उद्देश्य लोगों को पर्यावरण संरक्षण के प्रति जागरूक करना है। इस बार 2025 में दक्षिण कोरिया इसकी मेज़बानी कर रहा है और थीम है ‘प्लास्टिक प्रदूषण को हराएं’ (‘Beat Plastic Pollution’)। लेकिन भारत में इस दिन की शुरुआत पेड़ लगाकर हुई, क्योंकि हरियाली ही जीवन है।
PM मोदी ने क्या कहा?
प्रधानमंत्री मोदी ने एक्स (ट्विटर) पर पोस्ट लिखकर लोगों से पर्यावरण बचाने के लिए और प्रयास करने की अपील की-
“इस #विश्वपर्यावरणदिवस पर, हम सभी को अपनी धरती को बचाने और चुनौतियों से पार पाने के लिए और प्रयास करने चाहिए। मैं उन सभी लोगों को सलाम करता हूं जो ज़मीनी स्तर पर हमारे पर्यावरण को हरा-भरा बनाने के लिए काम कर रहे हैं।”
उन्होंने ये भी बताया कि पिछले एक दशक में भारत ने वनीकरण (Forest Cover) को बढ़ाने में बड़ी सफलता हासिल की है।
‘एक पेड़ मां के नाम’ से जुड़ी भावना और संकल्प
ये अभियान सिर्फ पेड़ लगाने तक ही सीमित नहीं है, बल्कि इसमें एक गहरी भावना छिपी है। मां और प्रकृति दोनों ही जीवनदायिनी हैं। जिस तरह मां हमें पालती-पोसती है, उसी तरह पेड़ भी हमें ऑक्सीजन, फल, छाया और साफ हवा देते हैं। इसलिए, अपनी मां के नाम पर एक पेड़ लगाना उन्हें सच्ची श्रद्धांजलि देने जैसा है।
क्या है लक्ष्य?
- इस साल 5 जून से 30 सितंबर तक 10 करोड़ पेड़ लगाए जाएंगे।
- पिछले साल भी PM मोदी ने बुद्ध जयंती पार्क में पीपल का पौधा लगाकर इसकी शुरुआत की थी।
- ये अभियान न सिर्फ पर्यावरण संरक्षण, बल्कि मातृत्व के सम्मान का भी प्रतीक है।
प्लास्टिक प्रदूषण: बड़ी चुनौती
इस साल विश्व पर्यावरण दिवस की थीम ‘Beat Plastic Pollution’ है। आज पूरी दुनिया में प्लास्टिक कचरे की समस्या विकराल हो चुकी है।
- हर साल 40 करोड़ टन प्लास्टिक का उत्पादन होता है।
- 50 फीसदी प्लास्टिक सिर्फ एक बार इस्तेमाल करके फेंक दिया जाता है।
- समुद्रों में हर साल 1 करोड़ टन प्लास्टिक जमा हो रहा है, जिससे मछलियों और समुद्री जीवों की जान को खतरा है।
क्या कर सकते हैं हम?
- प्लास्टिक बैग की जगह कपड़े के थैले इस्तेमाल करें।
- सिंगल-यूज प्लास्टिक (जैसे स्ट्रॉ, प्लास्टिक कप) से बचें।
- रीसाइक्लिंग को बढ़ावा दें।
भारत की हरियाली
PM मोदी ने बताया कि पिछले 10 सालों में भारत ने वन क्षेत्र बढ़ाने में बड़ी सफलता पाई है।
- भारत का वन क्षेत्र अब 7.13 लाख वर्ग किमी से अधिक हो गया है।
- स्थानीय समुदायों ने भी पेड़ लगाने में बढ़-चढ़कर हिस्सा लिया है।
- ‘नमामि गंगे’ और ‘ग्रीन इंडिया मिशन’ जैसे कार्यक्रमों से पर्यावरण सुधारने में मदद मिली है।
आप भी इस तरह से कर सकते हैं योगदान
हर छोटी कोशिश मायने रखती है। आप भी इन तरीकों से धरती को बचा सकते हैं:
1.एक पेड़ जरूर लगाएं- अपनी मां, पिता या किसी प्रियजन के नाम पर।
2.पानी बचाएं- नल खुला न छोड़ें, बारिश के पानी को संरक्षित करें।
3.सौर ऊर्जा (Solar Energy) का उपयोग करें।
4.कचरा अलग-अलग करके फेंकें– गीला और सूखा कचरा अलग करें।
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